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वास्तुदोष की वजह से अमित शाह नए की जगह अब फिर पुराने दफ्तर से ही कामकाज संभालेंगे
भाजपा अध्यक्ष अमित शाह को नई दिल्ली स्थित पार्टी का नया दफ्तर रास नहीं आ रहा है. अमर उजाला में प्रकाशित खबर की मानें तो नए दफ्तर में जाने के बाद भाजपा को कई राज्यों के चुनाव में हार का सामना करना पड़ा है. बताया जाता है कि इसके पीछे की वजह नए दफ्तर का वास्तुदोष है. इन बातों को ध्यान में रखते हुए ही अमित शाह ने अशोक मार्ग स्थित पुराने दफ्तर में वापस लौटने का फैसला किया है. इसके लिए पार्टी अध्यक्ष का दफ्तर एक बार फिर तैयार किया जा रहा है. हालांकि, इससे पहले अमित शाह के अध्यक्ष बनने के बाद पुराने दफ्तर में भी वास्तुदोष ठीक करने के लिए कई बदलाव किए गए थे.
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केरल : पिछले दो महीनों में नौ किसानों ने खुदकुशी की
बीते साल अगस्त में आई भयंकर बाढ़ की वजह से फसलों के नुकसान और कर्ज के बोझ तले दबे केरल के किसानों की खुदकुशी का सिलसिला रुकता हुआ नहीं दिखता है. द टाइम्स ऑफ इंडिया के मुताबिक शुक्रवार को त्रिचुर स्थित 49 वर्षीय जीजो पॉल ने फांसी लगाकर अपनी जिंदगी खत्म कर ली. मृतक किसान के रिश्तेदारों ने बताया कि उन्होंने बाढ़ के बाद कई बैंकों से कर्ज लिया था. इससे पहले पिछले दो महीनों के दौरान राज्य में आठ किसान खुदकुशी कर चुके हैं. ये सभी इडुक्की जिले के रहने वाले थे.
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नियोक्ता कंपनी विशेष भत्तों को कर्मचारी की बेसिक सैलरी से अलग नहीं कर सकती : सुप्रीम कोर्ट
सुप्रीम कोर्ट ने साफ किया है कि नियोक्ता कंपनी विशेष भत्तों को कर्मचारी की बेसिक सैलरी से अलग नहीं कर सकती है. अदालत ने यह भी कहा कि पीएफ कटौती के लिए भत्तों को बेसिक वेतन में जोड़ा जाना चाहिए. हिन्दुस्तान में छपी खबर के मुताबिक शीर्ष अदालत ने इस मामले में कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के खिलाफ कंपनियों की याचिका खारिज कर दी. इस याचिका के जरिए कर्मचारियों के भत्तों को मूल वेतन में जोड़ने के फैसले को चुनौती दी गई थी. सुप्रीम कोर्ट के इस फैसले के बाद ईपीएफओ ने कहा है कि वह अदालती फैसले के अनुपालन को सुनिश्चित करेगा.
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उबर के ड्राइवरों को आयुष्मान भारत योजना के दायरे में लाने की तैयारी
केंद्र सरकार पायलट योजना के तहत उबर के ड्राइवरों और इसके डिलिवरी पार्टनरों को आयुष्मान भारत योजना का फायदा देने की तैयारी में है. इसके तहत पांच लाख रुपये सालाना स्वास्थ्य बीमा दिया जाएगा. द हिंदू की रिपोर्ट के मुताबिक इसके लिए उबर कॉमन सर्विस सेंटर (सीएससी) बनाने की तैयारी में है. इस सेंटर में इच्छुक लोगों की पात्रता की जांच की जाएगी. साथ ही, योग्य साबित होने पर उन्हें ई-कार्ड भी उपलब्ध कराया जाएगा. हालांकि, यह सुविधा दिल्ली, तेलंगाना और ओडिशा में उपलब्ध नहीं होगी. बताया जाता है कि इन तीनों राज्यों ने इस योजना को शुरू करने से इनकार कर दिया है.
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सुप्रीम कोर्ट ने अरावली क्षेत्र में निर्माण कार्य को मंजूरी देने वाले कानून पर रोक लगाई
अरावली क्षेत्र में अवैध निर्माण को वैध बनाने और निर्माण कार्य को बढ़ावा देने के लिए हरियाणा सरकार के प्रस्तावित कानून पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगा दी है. नवभारत टाइम्स की खबर के मुताबिक न्यायाधीश अरुण मिश्रा की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि इस कानून पर अभी अमल की कोशिश न की जाए. पीठ ने आगे कहा, ‘आप (हरियाणा विधानसभा) ही सुप्रीम नहीं है. सरकार ने अदालत के आदेश का उल्लंघन किया है और ये न्यायिक अवमानना की तरह है. हम जानते हैं कि हरियाणा सरकार कुछ लोगों को फेवर करना और जंगल को खत्म करना चाहती है.’ इससे पहले हरियाणा की भाजपा सरकार ने इससे संबंधित विधेयक को विधानसभा से पारित करवाने में कामयाबी हासिल की थी. हालांकि, विपक्ष ने इसका विरोध किया था.